केंद्रीय बजट 2023 में मध्यम वर्ग की पांच बड़ी उम्मीदें......

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण 1 फरवरी को लोकसभा में 2023-24 का केंद्रीय बजट पेश करेंगी।

1 फरवरी को इस उम्मीद में कि सरकार आयकर सीमा बढ़ाएगी और मध्यम वर्ग के करदाताओं के अलावा अन्य लोगों को राहत देगी।

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि मोदी सरकार ने मध्यम वर्ग पर कोई नया टैक्स नहीं लगाया है. वह शायद संकेत दे रही थीं कि इस साल कर ढांचे में बदलाव की संभावना नहीं है।

पहली उम्मीद: क्या इनकम टैक्स स्लैब में होगा बदलाव?

मध्यम वर्ग केंद्रीय बजट से रोजगार सृजन पहलों पर जोर देने का आग्रह कर रहा है।

दूसरी उम्मीद: मध्यम वर्ग रोजगार सृजन के उपायों की मांग कर रहा है

मध्यम वर्ग लंबे समय से धारा 80डी के तहत स्वास्थ्य बीमा के लिए कटौती को 25,000 रुपये से बढ़ाकर 50,000 रुपये करने की मांग कर रहा है।

तीसरी उम्मीद: धारा 80D के तहत स्वास्थ्य बीमा के लिए कटौती बढ़ाएँ

बीमा क्षेत्र केंद्रीय बजट 2023 से मांग कर रहा है कि स्वास्थ्य बीमा और जीवन बीमा पर जीएसटी न लगाया जाए

चौथी उम्मीद: बीमा क्षेत्र की जीएसटी घटाने की मांग

मध्यम वर्ग बच्चों की ट्यूशन फीस को आयकर अधिनियम की धारा 80सी की कटौती से अलग प्रावधान में स्थानांतरित करने की मांग कर रहा है।

पांचवीं उम्मीद: बच्चों की ट्यूशन फीस को धारा 80 सी के तहत एक अलग प्रावधान में ले जाना।

उद्योग जगत के साथ-साथ देश के आम नागरिकों की भी इस बार इस बजट पर पैनी नजर रहेगी। ऐसा इसलिए क्योंकि 2024 में आम चुनाव से पहले यह आखिरी पूर्ण बजट होगा।

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